Saturday, September 26, 2020

अधिखंडीय स्वनिम



       अधिखंडीय स्वनिम

     

अनुनासिकता(Nasalisation)


हिंदी में अनुनासिकता अर्थभेदक है,अतः स्वानिमिक है।


उदा-:   काटा - काँटा । आधी - आँधी ।

          सास - साँस ।   चू -चूँ ।


 मात्रा -:(Length)


हिंदी इ  ई  तथा उ  ऊ में मात्र भेद की अपेक्षा गुण भेद है ।अतः हिंदी में मात्रा का विशेष स्थान नहीं है ।व्यंजनों में मात्रा को द्वित्व कहते हैं ।


चपल - चप्पल ।  भला - भल्ला ।

पता - पत्ता ।


संगम  या  संहिता (Juncture)


एक ध्वनि से दूसरी ध्वनि की ओर जो संक्रमण होता है उसे संगम या  संहिता कहते है़ंं ।यह संक्रमण कभी इतनी ते़जी से होता है कि बीच में कोई विराम नहीं होता ।कभी यह संक्रमण धीरे से होता है और बीच में एक विराम पड़ जाता है ।

विराम का होना या न होना अर्थभेदक होता है ।अतः संगम स्वानिमिक है ।


            तुम्हारे -     तुम  हारे


यहाँ 'तुम्हारे'  में  बद्ध संगम (Close Juncture) है और ' तुम  हारे ' में मुक्त संगम (Open Juncture)


         खाली  - खा  ली


        नदी  -  न  दी


       नरम -  न  रम


वाक्य स्तर पर भी संगम मिलता है ।


   वह घोडा गाडी खींचता है ।

  वह घोडा - गाडी खींचता है।


 रोको ,मत जाने दो ।

रोको मत ,जाने दो ।


दिया , तले रख दो ।

दिया तले ,रख दो ।


वे आज आएंगे।

वे आ  जाएंगे ।


No comments:

Post a Comment

thaks for visiting my website

एकांकी

AKSHARAM HINDI VIDYALAYA  ⭕ Online Hindi Classes (DBHPS) ⭕

  AKSHARAM HINDI VIDYALAYA  ⭕ Online Hindi Classes (DBHPS) ⭕ 👇👇👇👇👇👇 PRATHMIC  & PRAVESHIKA   For Queries 👇 👇 👇  WHATSAPP LINK Q...